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कुशीनगर: नोटबंदी के बाद से भारत में ऑनलाइन लेन देन में लगातार वृद्धि होती जा रही है, जिससे देश की आर्थिक व्यवस्था भी सुदृढ़ हो रही है, लेकिन भारत की 70% आबादी जो गांव में बसती है. उनको डिजिटल भुक्तान करने में तमाम तरह की समस्याओं का भी सामना करना पड़ता है. जहां आए दिन ऑनलाइन लेन देन में ठगी के मामले सामने आते रहते हैं, जिसका मुख्य कारण गांव देहात के कम पढ़े लिखे लोग. जहां विशेष कर महिलाओं में ऑनलाइन लेन देन की कम समझ होना है, जिसका खामियाजा अक्सर उनको भुगतना पड़ता है.

100 गांवों की महिलओं को किया जा रहा जागरुक 

ऑनलाइन लेन देन को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा तरह तरह की योजनाएं चलाई जाती हैं. उन्हीं में से एक डिजिटल सखी योजना है.  Biaf Live hood द्वारा संचालित और L & T Finance द्वारा वित्त पोषित यह योजना देश भर के साथ साथ कुशीनगर में सुचारू ढंग से प्रभावी है. फिलहाल जिले के 6 विकास खंडों के 100 गांवों के 5 लाख लाभार्थियों के बीच डिजिटल और वित्तीय समावेशन पर प्रवेश, जागरूकता और ग्रहण करने के स्तर को बढ़ाने के उद्देश्य से संचालित किया जा रहा है.

डिजिटल सखी योजना

ग्रामीण भारत में डिजिटल और वित्तीय समावेशन को बढ़ावा देने के लिए ग्रामीण महिला उद्यमियों को सशक्त बनाने पर विशेष ध्यान देने और यह सुनिश्चित करने के लिए कि सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का लाभ गांव के अंतिम छोर तक पहुंचे. इसके लिए डिजिटल सखी परियोजना का शुभारम्भ किया गया है.  2016 की नोटबंदी के पश्चात गांवों में लोगों के डिजिटल पेमेंट के बारे में जागरूकता न होने के कारण अत्यधिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

इन्हींं सब परेशानियों को खत्म करने एवं जन-जन तक डिजिटल एवं वित्तीय समावेशन को सुनिश्चित करने के लिए “डिजिटल सखी परियोजना’ की शुरुआत की गई है. डिजिटल सखी परियोजना अब तक 9 राज्यों, 22 से ज्यादा जिलों में एवं 1000 से ज्यादा गांवों में क्रियान्वित की जा चुकी है. L & T Finace के द्वारा अब तक 11000 से ज्यादा महिला उद्यमी, 200 से ज्यादा सेवा केंन्द्र खोले जा चुके हैं.

100 गांवों में नियुक्त ही डिजिटल सखी

अब तक 30 लाख से ज्यादा लोगों तक डिजिटल पेमेंट को पहुंचाया जा चुका है. उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जनपद में यह परियोजना मई 2024 से 4 विकास खंड खड्डा, फाजिलनगर, सुहरौली एवं पडरौना के 100 गांवों में संचालित की जा रही है. इस परियोजना के अन्तर्गत प्रत्येक गांव से एक-एक डिजिटल सखी की नियुक्ति की गयी है.

नियुक्त की गई डिजिटल सखियों ने बताया गांव की महिलाओं को डिजिटल भुगतान के लिए समझने में काफी समस्याएं भी आती हैं, लेकिन सभी डिजिटल सखियां योजना को धरातल पर उतरने के लिए पूरी तरह से प्रयासरत हैं.

डिजिटल सखी परियोजना के मैनेजर ने बताया

इस परियोजना के मैनेजर सतीश मिश्रा ने बताया कि कुशीनगर में इस योजना के माध्यम ज्यादा से ज्यादा महिलाओं तक डिजिटल पेमेंट के लिए जागरूकता लाने के लिए संस्था की डिजिटल सखियां तैयार हैं. वह सभी सखियां अपनी जिम्मेदारी को अच्छे से निभा रही हैं.

Tags: Digital payment, Kushinagar news, Local18, UP news

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