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नई दिल्ली55 मिनट पहले

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कड़ी सुरक्षा के बीच DU स्टूडेंट यूनियन के चुनाव हो रहे हैं। - Dainik Bhaskar

कड़ी सुरक्षा के बीच DU स्टूडेंट यूनियन के चुनाव हो रहे हैं।

दिल्ली यूनिवर्सिटी स्टूडेंट यूनियन के चुनाव के रिजल्ट जारी करने से दिल्ली हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। DU के कॉलेज में हाल ही में हुई चुनावी हिंसा को लेकर हाईकोर्ट में याचिका लगाई गई थी। इसमें कहा गया था कि चुनाव के दौरान पब्लिक प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाया जाता है।

इस पर सुनवाई करते हुए जस्टिस मनमोहन ने कहा- रिजल्ट तब तक घोषित न किए जाए जब तक यूनिवर्सिटी कोर्ट को संतुष्ट नहीं कर देती कि कॉलेजों से सभी पोस्टर, होर्डिंग्स, प्ले कार्ड को हटा दिया गया है। चुनाव की नोटिफिकेशन के मुताबिक, रिजल्ट 28 सितंबर को घोषित किए जाने थे।

दिल्ली यूनिवर्सिटी के चुनाव के लिए वोटिंग शुक्रवार सुबह 8:30 से शुरू हुई। यह चुनाव 2 फेज में हो रहे हैं। मॉर्निंग कॉलेज के छात्रों ने सुबह 8:30 से दोपहर 1 बजे तक वोट डाले। वहीं, शाम के कॉलेजों के छात्र दोपहर 3 बजे से शाम 7.30 बजे तक मतदान करेंगे।

इसमें 52 कॉलेजों के 1 लाख 40 हजार स्टूडेंट 4 सेंट्रल पदों ( प्रेसिडेंट, वाइस प्रेसिडेंट, सेक्रेटरी और जॉइंट सेक्रेटरी) के लिए EVM से वोट डाल सकेंगे।

4 पदों के लिए अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP), नेशनल स्टूडेंट यूनियन ऑफ इंडिया (NSUI) और लेफ्ट दल (AISA, SFI) के कैंडिडेट में कड़ी टक्कर है। कुल 21 कैंडिडेट मैदान में हैं। इनमें प्रेसिडेंट पद के लिए 8 प्रत्याशी, वाइस प्रेसिडेंट पद के लिए 5 प्रत्याशी, जॉइंट सेक्रेटरी पद के लिए 4 और सेक्रेटरी पद के लिए 4 प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे हैं।

DU चुनाव के लिए सिक्योरिटी के कड़े इंतजाम किए गए हैं।

DU चुनाव के लिए सिक्योरिटी के कड़े इंतजाम किए गए हैं।

4 पदों के लिए ABVP, NSUI और लेफ्ट में कड़ी टक्कर

  1. प्रेसिडेंट पोस्ट के लिए ABVP के ऋषभ चौधरी, NSUI के रौनक खत्री और AISA की सैवी गुप्ता के बीच कड़ी टक्कर है। ऋषभ चौधरी हरियाणा के सोनीपत के रहने वाले हैं। वे श्याम लाल कॉलेज ग्रेजुएट हैं और बुद्धिस्ट स्टडीज के छात्र हैं। वहीं, सैवी गुप्ता लॉ की पढ़ाई कर रही हैं।
  2. वाइस प्रेसिडेंट पद के लिए ABVP के भानु प्रताप सिंह, NSUI के यश नंदल और AISA के आयुष मोंडल के बीच कड़ी टक्कर है।
  3. सेक्रेटरी पद के लिए ABVP ने मित्रविंदा करनवाल को अपना उम्मीदवार बनाया है। करनवाल लक्ष्मीबाई कॉलेज में हिस्ट्री (ऑनर्स) की स्टूडेंट हैं। करनवाल का मुकाबला NSUI की नम्रता जेफ मीना और SFI की अनामिका से हैं। अनामिका फिलहाल पॉलिटिकल साइंस में मास्टर्स की पढ़ाई कर रही हैं।
  4. जॉइंट सेक्रेटरी पद के लिए, PGDNV इवनिंग कॉलेज से हिंदी (ऑनर्स) में ग्रेजुएशन करने वाले ABVP के अमन कपासिया का मुकाबला NSUI के लोकेश चौधरी और SFI की स्नेहा अग्रवाल से होगा।
DUSU में मुख्य रूप से ABVP, NSUI और लेफ्ट दल मैदान में हैं। लेफ्ट दल AISA और SFI मिलकर चुनाव लड़ रहे हैं।

DUSU में मुख्य रूप से ABVP, NSUI और लेफ्ट दल मैदान में हैं। लेफ्ट दल AISA और SFI मिलकर चुनाव लड़ रहे हैं।

यूनिवर्सिटी की बढ़ती फीस के मुद्दे को सभी दलों ने उठाया विश्वविद्यालय की लगातार फीस बढ़ रही है, इसे ABVP, NSUI और लेफ्ट दलों ने मुद्दा बनाया है। इसके अलावा हॉस्टल-कैंटीन में सुविधाएं, फ्री वाई-फाई, महिला स्टूडेंट के लिए सैनिटरी पैड समते कई मुद्दों को सभी दलों ने मुद्दा बनाया है। इसके अलावा अलग-अलावा अलग-अलग पार्टियों ने अपने कैंपेन में अलग-अलग मुद्दे उठाए हैं।

किस पार्टी ने कौन-सा मुद्दा उठाया

  1. ABVP: पीजी कोर्जेस के लिए ‘वन कोर्स, वन फी स्ट्रक्चर, यूनिवर्सिटी हॉस्टल का सेंट्रल से एलोकेशन, SC, ST, OBC और EWS कैटेगरी के लिए स्कॉलरशिप की मांग को लेकर कैंपेन किया।
  2. NSUI: कैंपन में कैंपस के बुनियादी ढांचे, एडमिशन में ट्रांसपेरेंसी और कॉलेज से जुड़े फैसलों में छात्रों की भागीदारी बढ़ाने जैसे मुद्दे पर कैंपेन किया।
  3. AISA और SFI: प्राइवेटाइजेशन, अटेंडेंस पॉलिसी में बदलाव, महिला सुरक्षा और चार साल के अंडर ग्रैजुएट प्रोग्राम को मुद्दा बनाया।

प्रोफेसर सत्यपाल सिंह को चीफ इलेक्शन ऑफिसर बनाया गया DU एडमिनिस्ट्रेशन की ओर से चुनाव के लिए समिति पहले ही घोषित की जा चुकी है। संस्कृत डिपार्टमेंट के प्रोफेसर सत्यपाल सिंह को चीफ इलेक्शन ऑफिसर नियुक्त किया है। वहीं, डिपार्टमेंट ऑफ पर्शियन के प्रोफेसर चंद्र शेखर को इलेक्शन एडवाइजर और केमिस्ट्री डिपार्टमेंट के प्रोफेसर राज किशोर शर्मा को चीफ रिटर्निंग ऑफिसर नियुक्त किया गया है।

पिछली बार 3 पर ABVP, 1 पद पर NSUI जीती

दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्र संघ के पिछले चुनाव में प्रेसिडेंट, सेक्रेटरी और जॉइंट सेक्रेटरी पदों पर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की जीत हुई थी। 4 सेंट्रल पोस्ट के लिए 24 उम्मीदवार थे। वाइस प्रेसिडेंट पोस्ट NSUI जीती थी। ABVP से प्रेसिडेंट बने तुषार डेढ़ा को 23 हजार 460 वोट मिले थे, जबकि हितेश गुलिया (NSUI) को 20 हजार 345 वोट मिले थे।

वहीं, वाइस प्रेसिडेंट पद पर अभि दहिया (NSUI) जीते थे। इस पोस्ट के लिए सुशांत धनखड़ (ABVP), अनुष्का चौधरी (AISA) और अंकित (SFI) भी मैदान में थे। सेक्रेटरी पद पर अपराजिता (ABVP) विजयी रही हैं। यक्षना शर्मा (NSUI), आदित्य प्रताप सिंह (AISA) और अदिति त्यागी (SFI) भी चुनाव मैदान में उतरे थे।

2019 में चार में से 3 पद ABVP जीती थी दिल्ली यूनिवर्सिटी में छात्र संघ के 2019 चुनाव में ABVP ने चार में से तीन सीटों पर कब्जा जमाया था। कोरोना के कारण 2020 और 2021 में चुनाव नहीं हो सके, जबकि एकेडमिक कैलेंडर में डिस्टर्बेंस के कारण 2022 में इलेक्शन शेड्यूल नहीं हुए।

चीफ इलेक्शन ऑफिसर प्रोफेसर चंद्रशेखर ने बताया कि यूनिवर्सिटी में शुक्रवार को रिकॉर्ड 42% मतदान हुआ। 52 कॉलेजों में वोटिंग EVM से करवाई गई, जबकि कॉलेज यूनियन के लिए बैलट पेपर पर वोटिंग हुई। यह 2019 में हुए चुनाव के 39.90% से 2.10 फीसदी ज्यादा रहा। हालांकि 2018 में रिकॉर्ड 44.46% और 2017 में 42.8% वोटिंग हुई थी।

​​​चुनाव पर खर्च किए 60 लाख से एक करोड़ रुपए छात्रसंघ चुनाव की गाइडलाइंस बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 2005 में एक कमेटी बनाने का आदेश दिया था। 2006 में लिंगदोह कमेटी ने अपनी सिफारिशें दी कि एक कैंडिडेट प्रचार पर 5 हजार रुपए ही खर्च करेगा। इन्हें सुप्रीम कोर्ट ने भी मंजूर किया था।

इसके अनुसार एक कैंडिडेट सिर्फ 5 हजार रुपए खर्च कर सकता है। कमेटी ने कहा था कि प्रचार में किसी भी तरह के प्रिंटेड पोस्टर्स का इस्तेमाल नहीं होगा और इन्हें यूनिवर्सिटी की कुछ तय जगहों पर ही लगाया जाएगा। पर वर्कर्स बताते हैं कि दिल्ली यूनिवर्सिटी में प्रेसिडेंट इलेक्शन पर 60 लाख से 1 करोड़ रुपए तक खर्च किए गए।

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