- Hindi News
- National
- Uttarakhand Embankment Kali River In Dharchula; Stone Pelting From Nepal
- कॉपी लिंक
पथराव वाली जगह पहुंचे भारतीय अधिकारी।
उत्तराखंड के धारचूला में भारत-नेपाल सीमा पर बह रही काली नदी में भारत की तरफ से हो रहे तटबंध बनाया जाना है। इसे बना रहे मजदूरों पर नेपाल की ओर से पत्थरबाजी की गई। नेपाल के लोगों ने भारतीय मजदूरों को भगा दिया।
इतना ही नहीं, यहां पर जेसीबी ऑपरेटर को अगवा कर अपने साथ ले गए। करीब तीन घंटे तक उसे कब्जे में रखा। इस घटना के बाद दोनों देशों के बीच फिर से विवाद गहरा गया है।
घटना के बाद रविवार को भारत और नेपाल के अधिकारियों ने मौके का निरीक्षण किया और विवाद सुलझाया। इसके बाद जेसीबी ऑपरेटर को छोड़ा गया है।
सिंचाई विभाग काली नदी पर तटबंध निर्माण का कार्य कर रहा है। पिछले दो सालों से यह निर्माण कार्य पूरा नहीं हो पा रहा है।
क्या है विवाद का कारण? भारत के ऊंचे भूभाग और नेपाल के निचले क्षेत्र के कारण तटबंध निर्माण पर नेपाल को आपत्ति है। नेपाल का मानना है कि तटबंध बनने से नदी नेपाल की ओर कटाव करेगी। भारत का पक्ष है कि निर्माण कार्य से दोनों का लाभ है, इसे संतुलित रूप से पूरा करेंगे।
नेपाल ने 2013 में ही काली नदी के किनारे बाढ़ सुरक्षा के लिए मजबूत तटबंधों का निर्माण कर लिया था। तब भारत ने इसका कोई विरोध नहीं किया था। भारत के काम शुरू करने से बाद से अब तक नेपाल की तरफ से करीब एक दर्जन बार पथराव हो चुका है।
दिसंबर 2022 में पथराव के बाद उत्तराखंड के धारचूला में भारत-नेपाल सीमा पर बने सस्पेंशन ब्रिज को जाम कर दिया गया था।
कई बार हो चुकी अधिकारियों की बैठक
नेपाल की ओर से लगातार पत्थरबाजी के बाद दोनों देशों के अधिकारियों की धारचूला सीडीओ ऑफिस और एनएचपीसी में दो बार बैठक हो चुकी है। बैठकों में नेपाल के अधिकारियों ने पत्थरबाजी करने वालों के खिलाफ कार्रवाई का आश्वासन दिया था। इसके बावजूद नेपाल की ओर से पत्थरबाजी बदस्तूर जारी है।
भारत काली नदी के अपने किनारे पर तटबंध बना रहा है क्योंकि भारी बारिश के दौरान क्षेत्र जलमग्न हो जाता है और नदी के तेज प्रवाह के कारण भारतीय भूमि काली नदी में समा जाती है।
पहले हुई पथराव की घटनाएं…
मई 2023 : नेपाल के दो युवकों ने पिथौरागढ़ के घाटखोला गांव में काम कर रही मशीनों और मजदूरों पर अचानक पथराव कर दिया था। पथराव के बाद भारतीय सीमा में काम कर रहे मजदूर जान बचाकर भागे थे। पथराव में एक जेसीबी का शीशा टूट गया था। खबर मिलने पर नेपाल पुलिस भी पहुंची, लेकिन उन्होंने न तो पथराव कर रहे युवकों को रोका और न ही उनके खिलाफ कोई कार्रवाई की।
दिसंबर 2022: तटबंध बना रहे मजदूरों पर पथराव की घटना 4 दिसंबर को हुई। मजदूरों को काम रोकना पड़ा। इसके बाद नेपाल की तरफ से व्यापारियों और स्थानीय लोगों के विरोध करने पर उनसे मारपीट की गई। पिथौरागढ़ के व्यापारी मंडल ने काली नदी पर बने सस्पेंशन पुल को बंद कर दिया था। साथ ही 3 दिन का अल्टीमेटम देकर भूख हड़ताल की चेतावनी दी थी।
- व्हाट्स एप के माध्यम से हमारी खबरें प्राप्त करने के लिए यहाँ क्लिक करें।
- टेलीग्राम के माध्यम से हमारी खबरें प्राप्त करने के लिए यहाँ क्लिक करें।
- हमें फ़ेसबुक पर फॉलो करें।
- हमें ट्विटर पर फॉलो करें।
———-
🔸 स्थानीय सूचनाओं के लिए यहाँ क्लिक कर हमारा यह व्हाट्सएप चैनल जॉइन करें।
Disclaimer: This story is auto-aggregated by a computer program and has not been created or edited by Ghaziabad365 || मूल प्रकाशक ||