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लखनऊ. यूपी उपचुनाव में बीजेपी ने जबरदस्त जीत हासिल कर एसपी सुप्रीमो अखिलेश यादव को बड़ा जख्म दिया है. सीएम योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में बीजेपी ने वो कर दिखाया, जो बीते 31 साल में बीजेपी ने नहीं किया. बीजेपी ने 9 में से 7 सीट जीतकर साल 2027 के विधानसभा चुनाव के लिए भी अपना टारगेट सेट कर दिया है. इस जीत से बीजेपी नेताओं का उत्साह सातवें आसमान पर पहुंच गया है. बीजेपी नेता तो इस जीत के बाद अब शेरो-शायरियाां भी करने लगे हैं. यूपी के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने शायराना अंदाज में अखिलेश यादव पर तंज कसते हुए कहा, ‘सीने में जलन आंखों में तूफान.. उपचुनाव के नतीजों के बाद समाजवादी पार्टी की जमीन खिसक गई है. जब भी सपा सत्ता में आई है, राज्य में गुंडों और माफियाओं का आतंक रहा है. उनका काम दूसरों की जमीन और मकानों पर कब्जा करना है. इसलिए राज्य की जनता ने उन्हें नकार दिया है.’

ब्रजेश पाठक ही नहीं बीजेपी के तमाम नेता इस जीत से काफी उत्साहित हैं. राज्य के एक और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने कहा, ‘पीएम मोदी के नेतृत्व में देश आगे बढ़ रहा है. इस उपचुनाव में जनता ने समाजवादी पार्टी को बिल्कुल नकार दिया है. समाजवादी पार्टी की जमीन खिसकने से खलबली मची हुई है. राज्य की जनता ने उपचुनाव में बीजेपी को 9 में से सात सीटें और महाराष्ट्र में प्रचंड बहुमत देकर बड़ा मैसेज दि दिया है. लोगों को सपा सरकार की गुंडई याद है. इसलिए 2027 में तीसरी बार भी भाजपा की सरकार बनेगी और सपा साफ हो जाएगी.’

बीजेपी की जीत के मायने
इस उपचुनाव ने एसपी को गहरा जख्म दिया है तो बीजेपी को साल 2027 को जीतने का मंत्र भी मिल गया है. बीजेपी की 7 सीटों पर जीत ने ये बता दिया है कि साल 2027 के यूपी विधानसभा चुनाव में योगी मॉडल किस तरह से एसपी को आगे घेरने वाली है. खासकर, मुस्लिम बहुल सीटों पर एसपी की हार ने बीजेपी को बड़ा मंत्र दे दिया है. क्योंकि, कुंदरकी जैसी सीट के नतीजे तो कम से कम यही बता रहे हैं.

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31 साल बीजपी ने रजा इतिहास
बीजेपी ने एसपी से कुंदरकी सीट 31 साल के बाद छीनी है. बीजेपी ने इस सीट पर समाजवादी पार्टी की पीडीआई फॉर्मूले की हवा निकाल दी. कुंदरकी सीट बीजेपी ने आखिरी बार साल 1993 में जीत दर्ज की थी. लेकिन, इस उपचुनाव में बीजेपी ने कुंदरकी सीट एसपी सी छीन ली. साल 1993 में भी बीजेपी के चंद्र विजय सिंह ने मौजूदा प्रत्याशी मोहम्मद रिजवान को ही हराया था. साल 2024 के उपचुनाव में बीजेपी के रामवीर सिंह ने एसपी उम्मीदवार मोहम्मद रिजवान को तकरीबन डेढ़ लाख के मतों के अंतर से हराया है. आपको बता दें कि साल 2017 में भी रामवीर सिंह बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़े थे, लेकिन रिजवान से लगभग 2000 वोटों के अंतर से चुनाव हार गए थे.

समाजवादी पार्टी इस उपचुनाव में धांधली का आरोप लगा रही है. सपा का कहना है कि इस बार यूपी की 9 सीटों पर बीजेपी नहीं बल्कि पुलिस प्रशासन चुनाव लड़ रहा था. कई सीटों पर तो मुस्लिम मतदाताओं को वोट देने से रोक दिया गया और कई बूथों पर से एसपी के एंजेट बनने तक नहीं दिए गए. लेकिन, इसके बावजूद भी बीजेपी की इस जीत के मायने काफी बड़े हैं. क्योंकि, सीएम योगी की रणनीति और ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ जैसे नारों ने काफी प्रभाव डाला है. इस चुनाव ने एसपी को ऐसे गहरा सदमा दिया, जिससे 2027 तक भी शायद अखिलेश यादव नहीं उबर पाएंगे.

Tags: Akhilesh yadav, CM Yogi Adityanath, Samajwadi party, UP chunav, UP news

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