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कार चोर
– फोटो : Adobe Stock

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पुलिस ने मेरठ की किठौर विधानसभा सीट से वर्ष 2022 में आजाद समाज पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले मोहम्मद अनस उर्फ हाजी को पांच अन्य साथियों पवन कुमार, फरियाद, प्रशांत कुमार, समीर और मुकीम के साथ गिरफ्तार किया है। 

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अनस वर्ष 2017-18 से अब तक 500 से ज्यादा चोरी की लग्जरी कारें खरीद चुका है। गिरोह के सदस्य महज पांच मिनट में कार चुरा लेते थे। आरोपियों के पास से पांच लग्जरी कारों, चोरी में इस्तेमाल किए जाने वाला टैब, फर्जी नंबर प्लेट आदि सामान बरामद किया है। गिरोह ने आपस में बात करने के लिए विशेष एप तक तैयार करवा रखा था। देशभर में फैले गिरोह के सदस्य एप से जुड़े थे। फिलहाल, पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर गिरोह सरगना गड्डू की तलाश कर रही है। 

दक्षिण-पश्चिमी जिला पुलिस उपायुक्त रोहित मीणा ने बताया कि वाहन चोरी निरोधक दस्ते के प्रभारी इंस्पेक्टर गौतम मलिक को वाहन चोरों को लेकर सीसीटीवी फुटेज से अहम सुराग मिले। दो माह में ज्यादातर चोरी हुई कारों में गड्डू गिरोह शामिल रहा था। कई माह की जांच के बाद सभी आरोपियों को गिरफ्तार किया गया।

सॉफ्टवेयर की मदद से चुराते थे कारें

पवन और फरियाद ने पूछताछ में बताया कि दोनों दिल्ली से लग्जरी कारें चुराकर गिरोह के सदस्यों को दिया करते हैं। पुलिस से बचने के लिए आरोपियों ने एप बनावा रखा था। इससे देशभर में फैले गड्डू गिरोह के सदस्य आपस में बात करते थे और कारों के आर्डर भेजते थे। पवन ने बताया कि वह फरियाद और प्रशांत के साथ मिलकर दिल्ली-एनसीआर से फॉर्च्यूनर, अर्टिगा, बलेनो आदि कारें के लॉक सॉफ्टवेयर की मदद से खोलता था। इसके बाद कार चुराकर फरार हो जाते थे। 

फॉर्च्यूनर के लिए एक लाख व ब्रेजा के लिए पचास हजार

आरोपियों ने बताया कि कार चुराने के बाद अनस से सौदा किया जाता था। अनस और गुफरान कार लेने के लिए पवन के पास आते थे। इसके बाद कार मुकीम तक पहुंचाई जाती थी। मुकीम कारों को नया रूप देता था। आरोपियों ने दो माह में दिल्ली से 25-30 कारें चुराईं थीं। अनस और मुकीम फॉर्च्यूनर के लिए एक लाख व ब्रेजा के लिए पचास हजार रुपये देते थे। इसके बाद कार गड्डू और सलीम तक पहुंचाईं जाती थीं। गड्डू और सलीम दूसरे राज्यों में इनका सौदा करते थे। कार की पहचान छिपाने के लिए कार के चेसिस नंबर को बदल दिया जाता था।

अपराधियों का ब्योरा

पवन कुमार : अंबेडकर नगर, हैदरपुर, निवासी पवन (35) कार खोलने में माहिर है। वह शालीमार बाग थाने का बीसी है और दिल्ली-एनसीआर के 5 मामलों में भगोड़ा घोषित है। पिछले साल रिहा होने के बाद कभी कोर्ट में पेश नहीं हुआ। इसके खिलाफ चोरी के 12 मामले, शस्त्र अधिनियम व लूट के मामले भी दर्ज हैं।

फरियाद : मवाना, मेरठ निवासी फरियाद (32) पेशे से कार मैकेनिक है। इसके खिलाफ चोरी के 12 व एनडीपीएस का एक मामला दर्ज है। 

प्रशांत कुमार : गांव तेहगोरा, थाना झंगीराबाद, जिला बुलंदशहर निवासी प्रशांत कुमार (32) पवन का दूर का रिश्तेदार है और चोरी करते समय वाहन चलाता था और रिसीवर को कार भी सप्लाई करता था। इसके खिलाफ पहले से कोई मामला दर्ज नहीं है। 

अनस : मवाना, मेरठ निवासी अनस (38) कार का प्रमुख खरीदार था। इसके बाद मोटी रकम लेकर कार को अन्य को बेच देता था। चुनाव में इसे चार से पांच हजार वोट ही मिले थे। इसके खिलाफ पहले से चोरी के 6 मामले और आर्म्स एक्ट का एक मामला दर्ज है।

समीर : शामली निवासी समीर (26) रिसीवर के लिए काम करता है और 5 हजार रुपये प्रति कार की दर से उनके निर्देशानुसार कार पहुंचाता है। इसके खिलाफ भी पहले से कोई मामला दर्ज नहीं है।

मुकीम : शामली निवासी मुकीम उर्फ मुक्की (35) चोरी की कारों का प्रमुख रिसीवर भी है और वह सहारनपुर में गोदाम चलाता था। यहां से मरम्मत के बाद वह अच्छी रकम पर अन्य पार्टियों को आपूर्ति करता था।

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