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शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय में कृत्रिम अंग की पूरी व्यवस्था देख रहे डॉक्टर रंजीत ने लोकल 18 को बताया कि यहां पर जो कृत्रिम अंग दिए जाते हैं, उसमें अगर किसी के घुटने खराब हो चुके हैं, किसी का पंजा कट गया है, किसी के घुटने के नीचे का हिस्सा कट गया है, किसी की जांघों से लेकर पूरा पैर के नीचे तक का हिस्सा कट गया है या किसी की रीढ़ की हड्डी टेढ़ी है या किसी के कमर में दर्द है या लकवा के कारण किसी के हाथ पूरी तरह से खराब हो चुके हैं या हाथों से जुड़ी हुई किसी भी तरह की बीमारी हो, ऐसे सभी कृत्रिम अंग यहां पर निशुल्क दिए जाते हैं. ये सभी अंग बेहद हाइटेक होते हैं. जल्द ही आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित भी कृत्रिम अंग दिव्यांगों को उपलब्ध कराए जाएंगे, जिसके जरिए उनके नकली हाथ और पैर भी बिल्कुल असली जैसे लगेंगे. यानी उनकी एक-एक उंगली का मूवमेंट हो सकेगा, जिससे वो पूरी तरह से आत्मनिर्भर बन जाएंगे.
इन प्रमाण पत्रों को लेकर यहां पहुंचे
अगर आपकी जानकारी में कोई दिव्यांग है या कोई सड़क दुर्घटना का शिकार आदि होने की वजह से दिव्यांग हो गया है, तो आप उन्हें लखनऊ के मोहन रोड स्थित डॉक्टर शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय भेज सकते हैं. रविवार को छोड़कर बाकी सभी दिन यहां पर कृत्रिम अंग उपलब्ध कराए जाते हैं. सुबह 10 बजे से लेकर शाम 5 बजे तक आप यहां आ सकते हैं. प्रमाण पत्रों पर नजर डालें, तो आय प्रमाण पत्र जिसमें 15,000 रुपये से नीचे आय होनी चाहिए. दिव्यांग प्रमाण पत्र और आधार कार्ड की फोटो कॉपी आपको लानी होगी. ये प्रमाण पत्र यहां लेकर आने पर ही पंजीकरण होगा.
Tags: Local18, Lucknow news, UP news
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