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राजभवन के अशोक उद्यान में 11 मंत्रियों का शपथ ग्रहण समारोह हुआ। राज्यपाल संतोष गंगवार ने शपथ दिलाई।

हेमंत सोरेन के सीएम पद की शपथ लेने के 6 दिन बाद गुरुवार को राजभवन के अशोक उद्यान में 11 मंत्रियों ने शपथ ली। राज्यपाल संतोष गंगवार ने शपथ दिलाई। नई सरकार में 5 मंत्रियों को रिपीट किया गया है। जबकि, JMM और कांग्रेस ने अपने 50% मंत्रियों को बदला है।

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खास बात है कि राज्य गठन के बाद पहली बार फारवर्ड कोटे से मंत्री नहीं बनाया गया है। इससे पहले एक या दो मंत्री हमेशा फारवर्ड कोटे से बनते रहे हैं। पिछली बार गढ़वा से चुनाव जीते मिथिलेश ठाकुर ब्राह्मण चेहरे के तौर पर मंत्री बने थे। इस बार वह चुनाव हार गए हैं। इसके बाद INDIA ब्लॉक ने फारवर्ड कोटे को खत्म कर दिया है।

जानकार मानते हैं कि फारवर्ड भाजपा के परंपरागत वोटर हैं। इस वजह से भी हेमंत सोरेन सरकार ने महत्व नहीं दिया। हालांकि, इस कोटे से मंत्री पद की रेस में चुन्ना सिंह और अनंत देव प्रताप का नाम चर्चा में था।

मंत्रिमंडल में झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) से 6, कांग्रेस से 4 और राजद से एक विधायक मंत्री बने हैं। JMM के हफीजुल हसन ने उर्दू में शपथ ली। बाकी 10 मंत्रियों ने हिंदी में शपथ ली। हेमंत सोरेन ने 28 नवंबर को अकेले ही मोरहाबादी मैदान में मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी।

JMM ने 3 मंत्रियों को किया रिपीट, 3 नए चेहरे

JMM ने नई कैबिनेट में तीन मंत्रियों को रिपीट किया है। चाईबासा से विधायक दीपक बिरुवा, घाटशिला से विधायक रामदास सोरेन और मधुपुर से विधायक हफीजुल हसन अंसारी इस बार भी मंत्री बने हैं। तीनों हेमंत सोरेन की पिछली सरकार में मंत्री थे।

वहीं, पार्टी ने तीन नए चेहरों गिरिडीह से विधायक सुदिव्य कुमार सोनू, गोमिया से विधायक योगेंद्र प्रसाद और बिशुनपुर से विधायक चमरा लिंडा को मौका दिया है। योगेंद्र कुर्मी/महतो समाज से आते हैं और हेमंत सोरेन के काफी करीब हैं। वहीं, सुदिव्य दो बार से गिरिडीह से चुनाव जीत रहे हैं। वह कल्पना सोरेन के करीबी बताए जाते हैं। कल्पना गिरिडीह जिले की गांडेय सीट से विधायक हैं।

दीपक बिरुवा झारखंड आंदोलन की उपज है। आंदोलन के दौरान 1998 में इनका सम्पर्क चाईबासा के टाटा कॉलेज छात्र युनियन के सचिव धनश्याम दरबारा हो गया। इसके बाद वह आंदोलन से जुड़ गए।

वहीं, पूर्व सीएम चंपाई सोरेन के JMM छोड़ने पर रामदास सोरेन की किस्मत खुली थी। पार्टी ने कोल्हान एरिया में उनको अपना चेहरा बनाया और पिछली बार भी मंत्री बनाया था। इस बार भी उनको मंत्री बनाया है। रामदास ने चंपाई के बेटे बाबूलाल सोरेन को चुनाव हराया है।

कांग्रेस से दो पुराने और दो नए चेहरों को मौका

कांग्रेस कोटे से जामताड़ा विधायक इरफान अंसारी, महागामा विधायक दीपिका पांडेय सिंह, छत्तरपुर विधायक राधाकृष्ण किशोर और मांडर से विधायक शिल्पी नेहा तिर्की मंत्री बनीं है। इरफान अंसारी हेमंत सोरेन की पिछली कैबिनेट में ग्रामीण विकास मंत्री थे। जबकि, दीपिका पांडे सिंह कृषि मंत्री थीं। पार्टी ने राधाकिशोर और शिल्पी नेहा को पहली बार मंत्री बनाया है।

जामताड़ा से चुनाव जीते कांग्रेस के डॉ. इरफान अंसारी अपने बयानों को लेकर हमेशा चर्चा में रहते हैं। चुनाव के बीच उन्होंने अपने प्रतिद्वंदी सीता सोरेन को लेकर विवादित बयान दे दिया। इस पर भाजपा आक्रामक रहीं। वहीं, महागामा विधानसभा से जीतीं दीपिका पांडे सिंह बिहार सरकार में मंत्री रहे अवध बिहारी सिंह की बहू हैं। MBA-LLB डिग्री धारी दीपिका की मां भी कांग्रेस की नेता थीं।

राधाकृष्ण किशोर एससी कोटे से मंत्री बने हैं। जबकि, शिल्पी नेहा तिर्की पूर्व मंत्री बंधु तिर्की की बेटी हैं। और कांग्रेस की तेजतर्रार महिला नेता हैं। वह फील्ड में काफी एक्टिव रहती हैं।

राजद को अपने यादव वोटबैंक पर भरोसा

झारखंड सरकार में राजद ने अपने यादव वोटबैंक को साधने का प्रयास किया है। पार्टी ने अपने कोटा से गोड्डा विधायक संजय यादव को मंत्री बनाया है। वह लालू यादव के काफी भरोसेमंद हैं। बिहार चुनाव को देखते हुए संजय यादव का मंत्री बनना राजद के लिए फायदेमंद है। यादव 15 साल बाद चुनाव जीते हैं। इससे पहले वह 2009 में गोड्डा से राजद के टिकट पर ही जीते थे। अभी पार्टी के प्रदेश महासचिव हैं।

लालू यादव के करीबी संजय यादव को राजद ने बनाया मंत्री।

संजय यादव हेमंत कैबिनेट के सबसे अमीर मंत्री हैं। उनकी टोटल संपत्ति 28 करोड़ रुपए है। वहीं, सबसे कम संपत्ति वाले कैबिनेट मंत्री JMM के हफीजुल हसन अंसारी है। उनकी संपत्ति एक करोड़ रुपए है।

संथाल परगना से सबसे अधिक कैबिनेट मंत्री

नई सरकार में सबसे अधिक संथाल परगना से 4 विधायकों को मंत्री बनाया गया है। JMM और कांग्रेस ने दो-दो मंत्री पद दिया है। 2024 विधानसभा चुनाव में संथाल की 18 सीटों में से INDIA ब्लॉक ने 18 में से 17 सीटों पर धमाकेदार जीत दर्ज की थी।

यहां भाजपा ने बांग्लादेशी घुसपैठ के मुद्दे को पुरजोर तरीके से उठाया था, लेकिन NDA को बड़ी हार का सामना करना पड़ा था। भाजपा तीन बार जीत रही सारठ और राजमहल सीट हार गई थी।

पत्नी कल्पना सोरेन के साथ सीएम हेमंत सोरेन राजभवन में रहे मौजूद।

कोल्हान और दक्षिणी-उत्तरी छोटानागपुर से 2-2 मंत्री

नई सरकार में कोल्हान, उत्तरी छोटानागपुर और दक्षिणी छोटानागपुर प्रमंडल से 2-2 विधायकों को मंत्री बनाया गया है। कोल्हान के दोनों मंत्री पिछली सरकार में भी थे। दक्षिणी छोटानागपुर से बनने वाले दोनों मंत्री पहली बार बने हैं। वहीं, उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडल से भी दोनों नए मंत्री बनाए गए हैं।

INDIA ब्लॉक ने कोल्हान की 14 सीटों में से 12 सीटों पर जीत दर्ज की थी। यहां भाजपा सिर्फ सरायकेला से जीत सकी थी। वहां से पूर्व सीएम चंपाई सोरेन ने कमल खिलाया था। जबकि, सहयोगी जदयू जमशेदपुर पश्चिम से जीत दर्ज की थी। कोल्हान आदिवासी बेल्ट है, जहां JMM की मजबूत पकड़ है।

वहीं, दक्षिणी छोटानागपुर की 15 में से 13 सीटों पर INDIA ब्लॉक ने जीत दर्ज की। इस बार यहां से दो मंत्री बने हैं। कांग्रेस ने बंधु तिर्की की बेटी शिल्पी नेहा तिर्की तो JMM ने चमरा लिंडा को पहली बार मंत्री बनाया है। जबकि, उत्तरी छोटानागपुर की 25 सीटों में से INDIA ब्लॉक ने 10 सीटों पर जीत दर्ज की थी। ये इलाका भाजपा का मजबूत गढ़ है। NDA ने 14 सीटों पर जीत दर्ज की थी। यहां कास्ट फैक्टर पर राजनीति होती है। यही कारण है कि महतो समाज से आने वाले योगेंद्र प्रसाद और वैश्य समाज से आने वाले सुदिव्य कुमार सोनू को मंत्री बनाया गया है।

पलामू से सिर्फ एक मंत्री

नई सरकार में पांचों प्रमंडलों से मंत्री बनाया गया है। पलामू को सिर्फ एक मंत्री पद मिला है। कांग्रेस ने छतरपुर से विधायक राधाकृष्ण किशोर को मंत्री बनाया है। ये एससी समाज से आते हैं।

INDIA ब्लॉक ने पलामू की 9 सीटों में से 5 सीटों पर जीत दर्ज की थी। बिहार से सटे होने के कारण यहां जात और जमात की राजनीति हावी रहती है।

प्रोटेम स्पीकर के रूप में स्टीफन मरांडी ने ली शपथ

राज्यपाल संतोष गंगवार ने सबसे पहले प्रो. स्टीफन मरांडी को प्रोटेम स्पीकर की शपथ दिलाई। इसके बाद कैबिनेट मंत्रियों को पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। समारोह में प्रदेश कांग्रेस प्रभारी गुलाम अहमद मीर और राजद के प्रदेश प्रभारी जयप्रकाश नारायण यादव उपस्थित थे।

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हेमंत के अकेले शपथ लेने की इनसाइड स्टोरी: कांग्रेस में मंत्री के लिए विधायकों में रस्साकशी से लटका था मंत्रिमंडल विस्तार

हेमंत सोरेन ने 28 नवंबर की शाम 4 बजे रांची के मोरहाबादी मैदान में चौथी बार सीएम पद की शपथ ली। उन्होंने अकेले ही शपथ ली थी। कांग्रेस के विधायकों में मंत्री पद को लेकर रस्साकशी चल रही थी। इस कारण पार्टी में मंत्री पद के नाम तय करने में समय लगा था। कांग्रेस के अंदर जीच के कारण हेमंत सोरेन ने अकेले शपथ लेने का फैसला किया था। पढ़े पूरी खबर…

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