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प्रशांत किशोर के दिन अच्छे नहीं चल रहे हैं. हाल ही में बिहार में हुए उपचुनाव में पार्टी के उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई थी. उन्होंने बड़े जोरशोर से चुनाव से ऐन पहले अपनी पार्टी लॉन्च की थी. अब बिहार के पड़ोसी राज्य पश्चिम बंगाल में भी परोक्ष तौर उनको तगड़ा झटका लगा है. ममता बनर्जी ने अपने पार्टी नेताओं और विधायकों से कहा है कि वे किसी भी सर्वे एजेंसी को इंटरटेन न करें.

दरअसल, ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के साथ आईपैक का 2026 तक का समझौता है. आईपैक एक चुनावी सर्वे कंपनी है. इसके संस्थापक प्रशांत किशोर रहे हैं. हालांकि अब प्रशांत किशोर दावा करते हैं कि उन्होंने खुद को इस संस्था के अलग कर लिया है. अब यह संस्था पूरी तरह स्वतंत्र रूप में काम करती है. हालांकि, माना जाता है कि आईपैक अब भी प्रशांत किशोर पर छाया बताई जाती है.

ममता बनर्जी ने अपने विधायकों के साथ एक बैठक में कहा कि वह अपनी पार्टी की सर्वेसर्वा हैं. पार्टी में उनकी बात ही अंतिम है. ऐसे में उन्हें यानी विधायकों को हर मुद्दे पर बोलने की जरूरत नहीं है. ममता ने अपने विधायकों से यह भी कहा कि वे जनता के द्वार जाएं और उन्हें धन्यवाद करें.

सूत्रों का कहना है कि उन्होंने यह भी कहा कि विधायक किसी भी एजेंसी को एंटरटेन न करें. अगर वे सर्वे के लिए कॉल करते हैं तो उन्हें भाव देने की जरूरत नहीं है. वह उन चीजों को देख लेंगी. अब पार्टी के लोग कयास लगा रहे हैं कि कहीं इसका मतलब आईपैक से दूरी बनाना तो नहीं है. टीएमसी का आईपैक के साथ 2026 तक के लिए कॉन्ट्रेक्ट है. ऐसे में वे पार्टी के लिए सर्वे का काम करती है.

FIRST PUBLISHED : December 3, 2024, 12:52 IST

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