बहराइच: उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए अन्ना जानवर सबसे बड़ी चुनौती हैं. किसान अपना दुख दर्द कहते-कहते थक गए लेकिन सरकार अभी तक किसानों की इस समस्या का ठोस हल नहीं खोज सकी. योगी सरकार ने इस दिशा में कई कदम उठाए जिनमें गौशाला निर्माण से लेकर गौ पालन करने वाले परिवारों को गाय का खर्च देने की योजना सहित कई काम किए गए. इसके बावजूद अन्ना जानवर फसलों को बड़े पैमाने पर नुकसान पहुंचा रहे हैं. इन सब समस्याओं से बचने के लिए बेहद कारगर साबित हो रही है घरेलू दवा अमृत पानी.
कैसे तैयार होता है अमृत पानी?
बिना जानकारी के तो अमृत पानी बनाना कठिन है लेकिन एक इस पानी में पड़ने वाली सामग्री के बारे में आपको पता चल जाए तो आप इसे घर पर बड़े आराम से बना सकते हैं. इसे बनाने के लिए बेसन, गुड, नीम पत्ती, मदार पत्ती, गाय का गोबर, गौ मूत्र और पानी की जरूरत होगी. इन सब चीजों को मात्रा अनुसार मिलाकर एक प्लास्टिक के ड्रम में 10 दिनों के लिए रख दिया जाता है और फिर 10 दिन बाद यह खेतों में छिड़काव करने योग्य हो जाता है.
अमृत पानी के छिड़काव से अन्ना जानवर क्यों नहीं आते पास
अमृत पानी के छिड़काव से अन्ना जानवर फसलों को नुकसान करना तो छोड़ ही देते हैं और वह फसलों के आस-पास भी नहीं भटकते. इसमें पड़ने वाली नीम पत्ती, मदार पत्ती इतनी कड़वी महक देती हैं कि अन्ना जानवर इसे खाना तो दूर सूंघना तक पसंद नहीं करते. इस वजह से जानवर इसके आसपास भी नहीं भटकते. इससे फसलों का नुकसान होना बंद हो जाता है. इसके कीमत की बात करें तो बहराइच जिले की रहने वाली महिला नीलम इसे खुद से बनाकर ₹20 प्रति लीटर बेचती हैं. अगर कोई किसान बनवाना चाहे तो वह नीलम को मैटेरियल देकर बनवा भी सकता है.
FIRST PUBLISHED : November 21, 2024, 17:46 IST
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