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मेरठ. ये कहानी है मेरठ के नए सिटी कमिश्नर सौरभ गंगवार की. सौरभ गंगवार 2018 बैच के आईएस अधिकारी हैं. सौरभ के पिता किसान हैं और उनकी प्राथमिक शिक्षा प्राइमरी स्कूल में हुई है. सौरभ को एक वर्ष की आयु में पोलियो हो गया था. लोग कहा करते थे कि बच्चे को पोलियो हो गया इसका भविष्य कैसा होगा. उन्होंने अपने बुलंद इरादों से प्राइमरी स्कूल से आईआईटी दिल्ली जैसे संस्थान तक पढ़ाई का सफर तय किया. सिविल सर्विसेज की परीक्षा पास की. आज की तारीख में सौरभ तमाम युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत हैं.

News 18 से खास बातचीत में सौरभ गंगवार ने बताया कि बरेली के एक प्राइमरी स्कूल में उन्होंने पढाई की है. उन्होंने बताया कि जब वो एक साल के थे तो उनके दाहिने पैर में पोलियो हो गया. बरेली में हाईस्कूल और फिर इंटरमीडएट किया. इंटरमीडिएट के बाद वो अपनी दीदी के यहां कानपुर गए. वहीं तैयारी की और सेलेक्शन आईआईटी जैसे संस्थान में हो गया. आईआईटी के बाद वो सिंगापुर जॉब करने गए. छोटे भाई के लिए वो सिंगापुर से लौट आए. 2014 में उन्होंने सिविल सर्विसेज की तैयारी शुरू की. चौथे प्रयास में उनका सेलेक्शन हुआ. कई बार प्री में हुआ मेन्स में हुआ लेकिन फाइनल सेलेक्शन नहीं हो पा रहा था. इस बीच उन्होंने सिविल सर्विसेज की तैयारी करने वाले छात्रों को पढ़ाया भी. सौरभ गंगवार शाहजहांपुर आगरा बहराइच सोनभद्र और अब मेरठ के सिटी
कमिश्नर बनाए गए हैं.

सिविल सर्विसेज की तैयारी कर रहे युवाओं से वो धैर्य रखने की सलाह देते हैं. सौरभ का कहना है कि चौथी बार में उनका सेलेक्शन हुआ लेकिन उन्होंने कभी धैर्य नहीं खोया. सौरभ कहते हैं कि महात्मा गांधी, स्वामी विवेकानंद और गौतम बुद्ध उनके प्रेरणास्रोत हैं.

FIRST PUBLISHED : November 28, 2024, 23:59 IST

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